Friday, October 9, 2015

आप के साथ हूं!

मैं सही हूं या गलत
मुंझे नही पता
मैं बस आप के दिल की
दबी आवाज को
उंची आवाज में दोहराता हूं...
मैं गलत भी हो सकता हूं
मैं सही भी हो सकता हूं
मगर आप के आंसू और
जीने कि बेतहाशा तमन्ना
कैसे गलत हो सकती हैं?
बस मैं आप के जीने के साथ हूं...
सही हो या गलत
आप के साथ हूं!

No comments:

Post a Comment

गझनीचा मोहम्मद आणि मोहम्मद घोरी

    ललितादित्य मुक्तापिडाने अरबांना भारत व अफगाणिस्तानातून हुसकावून लावल्यानंतर जवळपास तीनशे वर्ष भारतावर कोणतेही नवे आक्रमण झाले नाही. अरब ...